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इंटरनेट पर श्रीरामजी का सबसे बड़ा विश्वकोश | RamCharitManas Ramayana in Hindi English | रामचरितमानस रामायण हिंदी अनुवाद अर्थ सहित

मानस पद संग्रह

नाना बिधि प्रहार कर सेषा। राच्छस भयउ प्रान अवसेषा॥ रावन सुत निज मन अनुमाना। संकठ भयउ हरिहि मम प्राना॥3॥

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श्रीरामचरितमानस | Shri RamCharitManas
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चौपाई : 

 नाना बिधि प्रहार कर सेषा। राच्छस भयउ प्रान अवसेषा॥
रावन सुत निज मन अनुमाना। संकठ भयउ हरिहि मम प्राना॥3॥

भावार्थ:

शेषजी (लक्ष्मणजी) उस पर अनेक प्रकार से प्रहार करने लगे। राक्षस के प्राणमात्र शेष रह गए। रावणपुत्र मेघनाद ने मन में अनुमान किया कि अब तो प्राण संकट आ बना, ये मेरे प्राण हर लेंगे॥3॥

 

    English :

 

 

IAST :

 

 

Meaning :


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Shiv

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