सखा धर्ममय अस रथ जाकें। जीतन कहँ न कतहुँ रिपु ताकें॥6
श्रीगणेशायनमः | Shri Ganeshay Namah
श्रीजानकीवल्लभो विजयते | Shri JanakiVallabho Vijayte
श्रीरामचरितमानस | Shri RamCharitManas
षष्ठः सोपानः | Descent 6th
श्री लंकाकाण्ड | Shri Lanka Kand
चौपाई :
सखा धर्ममय अस रथ जाकें।
जीतन कहँ न कतहुँ रिपु ताकें॥6॥
भावार्थ:
हे सखे! ऐसा धर्ममय रथ जिसके हो उसके लिए जीतने को कहीं शत्रु ही नहीं है॥6॥
IAST :
Meaning :