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इंटरनेट पर श्रीरामजी का सबसे बड़ा विश्वकोश | RamCharitManas Ramayana in Hindi English | रामचरितमानस रामायण हिंदी अनुवाद अर्थ सहित

मानस पद संग्रह

सुनि सुखु लहब राम बैदेहीं। अनुचित कहब न पंडित केहीं॥ कौसल्यादि सकल महतारीं। तेउ प्रजा सुख होहिं सुखारीं॥3॥

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श्रीरामचरितमानस | Shri RamCharitManas
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चौपाई

 सुनि सुखु लहब राम बैदेहीं। अनुचित कहब न पंडित केहीं॥
कौसल्यादि सकल महतारीं। तेउ प्रजा सुख होहिं सुखारीं॥3॥

भावार्थ:

इस बात को सुनकर श्री रामचन्द्रजी और जानकीजी सुख पावेंगे और कोई पंडित इसे अनुचित नहीं कहेगा। कौसल्याजी आदि तुम्हारी सब माताएँ भी प्रजा के सुख से सुखी होंगी॥3॥

 

    English :

 

 

IAST :

 

 

Meaning :


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Shiv

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